पुरानी पेट्रोल या डीजल कार को इलेक्ट्रिक में बदलें, होगी जबरदस्त बचत देश में पेट्रोल और डीजल के बढ़ते दामों ने लोगों को इलेक्ट्रिक कारों की ओर आकर्षित किया है। लेकिन अगर आपके पास पहले से ही एक पुरानी कार है, तो उसे स्क्रैप करने की जरूरत नहीं है। अब आप अपनी पेट्रोल या डीजल कार को इलेक्ट्रिक में बदल सकते हैं और हर साल हजारों रुपये की बचत कर सकते हैं। यह प्रोसेस न केवल सस्ता है, बल्कि पर्यावरण के लिए भी फायदेमंद है। आइए जानते हैं कैसे आप अपनी कार को EV में कन्वर्ट करा सकते हैं और इसमें कितना खर्च आएगा।
इलेक्ट्रिक कन्वर्जन किट का खर्च कितना आएगा?
अगर आप अपनी कार को इलेक्ट्रिक में बदलना चाहते हैं, तो आपको एक EV कन्वर्जन किट लगवानी होगी। इस किट में मोटर, बैटरी, कंट्रोलर और चार्जिंग सिस्टम शामिल होते हैं। भारत में कई कंपनियां सर्टिफाइड EV किट ऑफर करती हैं। आमतौर पर 12 kWh की बैटरी और 20 kW की मोटर के साथ एक किट का खर्च करीब 4 लाख रुपये तक आता है। अगर आप अधिक पावर और लंबी रेंज चाहते हैं, तो 22 kWh बैटरी वाली किट करीब 5 लाख रुपये में मिलेगी।
EV में बदलने के बाद कितनी होगी बचत?
एक पेट्रोल कार 15 किमी प्रति लीटर का माइलेज देती है, और अगर आप रोज 50 किमी सफर करते हैं, तो हर दिन लगभग 3.3 लीटर पेट्रोल की जरूरत होगी। मौजूदा रेट के हिसाब से यह खर्च महीनेभर में करीब 10,000 रुपये तक पहुंच जाएगा। दूसरी ओर, इलेक्ट्रिक कार की बैटरी फुल चार्ज करने का खर्च महज 56 रुपये होगा, जिससे महीनेभर का खर्च सिर्फ 1,120 रुपये आएगा। इस हिसाब से आप सालभर में लगभग 1.08 लाख रुपये तक की बचत कर सकते हैं।
इलेक्ट्रिक कन्वर्जन में कितना समय लगेगा?
अगर आप अपनी कार को इलेक्ट्रिक में बदलना चाहते हैं, तो इसमें करीब 7-10 दिन लगते हैं। इस प्रोसेस के दौरान आपकी कार से इंजन, फ्यूल टैंक और अन्य पारंपरिक सिस्टम हटाकर इलेक्ट्रिक मोटर और बैटरी इंस्टॉल की जाती है। इसके बाद चार्जिंग पोर्ट और कंट्रोलर सिस्टम लगाया जाता है। एक बार यह काम पूरा हो जाने के बाद, आपकी कार पूरी तरह से इलेक्ट्रिक बन जाएगी और इसे 10 साल तक आराम से चला सकते हैं।
इलेक्ट्रिक कार में RTO अप्रूवल और वारंटी
दिल्ली समेत कई राज्यों में इलेक्ट्रिक कन्वर्जन को लेकर सरकार ने मंजूरी दे दी है। RTO से अनुमति लेकर आपकी गाड़ी को इलेक्ट्रिक में तब्दील किया जा सकता है। कई कंपनियां EV किट पर 5 साल की वारंटी भी देती हैं, जिससे मेंटेनेंस का खर्च भी काफी कम हो जाता है। अगर आप अपनी पुरानी कार को स्क्रैप करने के बजाय इलेक्ट्रिक में बदलते हैं, तो यह ना सिर्फ सस्ता पड़ेगा, बल्कि आपको हर महीने पेट्रोल के झंझट से भी छुटकारा मिल जाएगा।