Friday, March 31, 2023

रिसर्च में सामने आया दिल दहला देने वाला सच Air Pollution से 15 साल तक घट जाती है उम्र

Air Pollution : Air Pollution हाल ही में हुई रिसर्च से पता चला है कि वायु प्रदूषण से 15 साल घट जाती है उम्र, तड़प तड़प कर होती है इंसान की मौत। World Health Organization का अनुमान है कि प्रदूषित हवा से मरने वाले लोगों की तादाद 42 लाख है उसमें अब 15 लाख लोग और जुड़ गए हैं, यानी कुल मिलाकर वायु प्रदूषण हर साल 57 लाख लोगों की जान के लिए खतरा बन जाता है रिसर्च में ऐसा भी बताया गया है कि पीएम 2.5 वाले धूल के कण कम स्तर पर होने पर भी बड़ा नुकसान कर रहे हैं।

वायु प्रदूषण के कारण

Journal Science Advances में छपी एक स्टडी में चेतावनी देते हुए बताया गया है कि हर साल वायु प्रदूषण से 15 लाख लोगों की उम्र घट जाती है और वो मारे जाते हैं। स्टडी में कहा गया है कि World Health Organization (WHO) के अभी के अनुमान से बड़ा नुकसान प्रदूषण फैलाने वाले पीएम 2.5 के कण कर रहे है। इन कणों से कैंसर, दिल की बीमारियां और सांस की तकलीफों में काफी बढ़ोतरी हो रही है। कनाडा की McGill University के प्रोफेसर Scott Vicental की स्टडी के मुताबिक प्रदूषण के हल्के कणों से जितना नुकसान सोचा गया था उससे कई गुना ज्यादा नुकसान हो रहा है।

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Commuters drive along a road amid heavy smog conditions in New Delhi on November 11, 2021. (Photo by Money SHARMA / AFP) (Photo by MONEY SHARMA/AFP via Getty Images)

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कनाडा में की गई है यह स्टडी  

ये स्टडी कनाडा में की गई है, जहां प्रदूषण का स्तर कम ही रहता है लेकिन स्टडी के मुताबिक PM 2.5 के कणों का स्तर WHO के टारगेट से भी कम किए जाने की जरूरत है। सितंबर 2021 में WHO ने 10 माइक्रोग्राम पर क्यूबिक मीटर से कम करके इस स्तर को 5 माइक्रोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर किया था। लेकिन रिपोर्ट के मुताबिक ये लेवल और नीचे लाने की जरूरत है। दिल्ली में PM 2.5 का स्तर इन दिनों 300 से 400 के बीच चल रहा है। गौरतलब है कि वायु गुणवत्ता सूचकांक के अनुसार शून्य से 50 के बीच एक्यूआई अच्छा, 51 से 100 के बीच संतोषजनक, 101 से 200 के बीच मध्यम, 201 से 300 के बीच खराब, 301 से 400 के बीच बहुत खराब और 401 से 500 के बीच एक्यूआई गंभीर माना जाता है। मतलब राष्टीय राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण का स्तर बहुत खराब है।

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कटिहार सबसे प्रदूषित शहर

वहीं Central Pollution Control Board के आंकड़ों के अनुसार सबसे ज्यादा प्रदूषित शहरों में बिहार का कटिहार टॉप पर है। वहीं दिल्ली वायु गुणवत्ता सूचकांक में बहुत खराब AQI के साथ दूसरे नंबर पर है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने 163 अलग अलग शहरों के प्रदूषण के स्तर को मापा है। एनसीआर के नोएडा का 328 और गाजियाबाद का एक्यूआई 304 रहा। मतलब यहाँ भी वायु प्रदूषण का स्तर चिंता जनक है।

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